Download App
20% तू चाहिए / Chapter 1: तू चाहिए मेरी कहानी
तू चाहिए तू चाहिए original

तू चाहिए

Author: Zulekha_Shaheen

© WebNovel

Chapter 1: तू चाहिए मेरी कहानी

"काश की मैं वहां नही जाता कभी, "काश मेरी जिंदगी में वो पल न आते कभी, "काश मैं किसी की मदद ही नही करता कभी,, काश, काश काश,,, की हम आकाश में वो चमकते हुए तारे न देखते साथ, "काश मुझे किसी से मोहब्बत ना होती कभी, "काश मैं मर ही जाता उस दिन "ताकि मेरी वजह से मेरी बीवी इस हाल में न होती आज,,,,,  "काश ऐसा हो जाता तो,, आज जिंदगी जीने में आसानी हो जाती,,, लेकिन ये "काश,, तो मेरे "काश, ही रह गए"।

"मेरा नाम आसिफ है, और "मैं एक शादीशुदा आदमी हूं,

आज मैं  खुद को बहुत बेबस महसूस कर रहा हूं क्योंकि मेरी बीवी एक दम खामोश बेड पर पड़ी है और मैं चाह कर भी उसके लिए कुछ भी नही कर पा रहा हूं।

मेरी बीवी नॉर्मल नही थी उसे एक अजीब सा दौरा पड़ता था, "मेने ना जाने कितने डॉक्टरों को अबतक चेंज कर चुका हूं लेकिन अबतक मुझे इस अजीब से दौरे के बारे में पता ही नही चल पाया है, डॉक्टरों के पास तो जैसे इस बीमारी का कोई इलाज ही नही है ।

अब मेरे पास एक आखिरी उम्मीद बची है, और साथ ही एक ऑप्शन भी।

इस ऑप्शन को में यूज नही करना चाहता था, वो इसलिए क्योंकि मुझे इन सब चीजों पर यकीन नही था।

मेरी वाइफ का नाम जीनत था, वो बहुत ही मासूम थी।

मेने कभी भी नही सोचा था की मेरी बीवी का ये हाल हो जायेगा और हमारी जिंदगी एक बंजर बन कर रह जायेगी।

मेरे घर पर जितने भी लोग आए सबने मेरी बीवी को देखकर यही कहां की , " उसे किसी पुरासरार ताकत ने जकड़ कर रखा है, जिस वजह से वो अपनी जिंदगी से रफ्ता रफ्ता हारती जा रही है, और सबने मुझे यही कहा था की मैं अपनी वाइफ को किसी अच्छे आमिल के पास दिखाऊं।

" मेने जब एक बड़े आमिल से अपनी बीवी को दिखाया तो उन्होंने मुझे एक बड़ी चौकाने वाली बात बताई ।

"मैं सुनकर बहुत ही हैरान हुआ क्योंकि आमिल ने मुझसे कहा था की वो, " बाला,, कहां है?

मेने कहा, " वो बाला? कोनसा बाला? मुझे तो नही पता ऐसी कोई बाला के बारे में, फिर उन्होंने मुझसे आगे कहा, " तुम्हारी बीवी को किसी ने एक बाला दिया था और वही एक बाला तुम्हारी बीवी की हालत का जिम्मेदार है ।

मुझे तो समझ ही नहीं आ रहा था की " मैं इस आमिल के बात पर यकीन करूं या नही?

मेरे मन में अजीब अजीब से खयाल आ रहे थे, फिर मेने इन सारे खयालों को साइड में रखकर एक बार अपनी बीवी के बारे में सोचा, तो मुझे ऐसा लगा की एक बार, सिर्फ एक बार " इन बातों पर गौर कर के सोचना चाहिए। फिर मैं कोई फैसला आगे कर पाऊंगा ।

जीनत की हालत बहुत ही नाजुक थी, उसे बार बार दौरे पड़ते थे इस बात से आसिफ बहुत खबराया हुआ था।

रात हो चुकी थी और रात के 2:00 बज चुके थे। आसिफ जोर जोर से कर्रा रहा था उसका सर पूरे पसीने से लत पत था, उसे ऐसा महसूस हो रहा था जैसे किसी ने उसके सीने पर एक बड़ा सा पत्थर रख दिया हो, अब नाही वो कहीं उलट सकता था और नाही पलट सकता था फिर अचानक उसकी आंखें खुल गई, उसके ठीक मुंह के पास एक हैरत नाक मंजर था जिसे देखकर उसकी चीखें बुलंद हो गई थी।

वो खौफनाक मंजर खुद उसकी बीवी थी क्योंकि वो आसिफ के सीने पर चढ़ कर बैठी हुई थी, उसके बाल उसके आंखों पर बिखरे थे ।

वो मंजर ऐसा था जैसे " वो आसिफ के कलेजे को चीरने के लिए बैठी हो। जब आसिफ ने चीख मारी तो उसने आसिफ पर ही हमला बोल दिया।

मेने जब जीनत को हटाने की कोशिश की केतो उसने मुझ पर हमला कर दिया, मेने जब दर्द मारे चीख मारी तो कमरे में मेरी फैमिली आ गई।

मेरी फैमिली में मेरे पापा, अम्मी, एक छोटी बहन और दो भाई थे। जिसमे से दो की शादी हो गई थी एक मैं और मेरे दूसरे भाई की, बस छोटा भाई और सबसे छोटी बहन बाकी थे जिसमे सबसे छोटी बहन ही थी।

जब सबने कमरे में आकर देखा तो वहा सब नॉर्मल था, जीनत तो शांति से अपने जगह पर सोई थी, बस आसिफ ही बेचैन दिखाई दे रहा था उसे कुछ भी नही हुआ था कोई चोट या कोई खरोच नही थे बॉडी पर ।

आखिर चंद मिनटों में ऐसा क्या हो गया था? जिससे पूरे कमरे में खौफ तारी हो गया था, क्या था वो सब? जो सिर्फ आसिफ ने ही देखा था ।

ये बातें सोच सोच कर आसिफ का तो सर दर्द से फटे जा रहा था, तभी आसिफ की अम्मी balm लेकर आई और उसके सर में लगाने लगी,

आसिफ की अम्मी ने आसिफ से पूछा, " ऐसा क्या हुआ था, तुम्हारे कमरे में जो तुम्हारी चीख जोरों से बाहर सुनाई देने लगी?

आसिफ ने बहुत सोचते हुए कहा, " पता नही अम्मी मुझे अचानक क्या हो गया था, मैं तो खुद कन्फ्यूज्ड हूं, तो मैं आपको केसे बताऊं।

अम्मी ने आसिफ से कहा, अच्छा! कोई बात नही बेटे, मुझे लगता है की तुमने कोई बुरा सपना देख लिया होगा। "जिसके कारण तुम इतने उलझे हुए हो, और फिर जीनत की भी तो ऐसी हालत है जिस वजह से तुम परेशान होंगे।

तुम ज्यादा सोचना बंद कर दो फिर देखो तुम्हारे बुरे सपने यूं गायब हो जाएंगे।

आसिफ ने उदास लहेज़ में अम्मी से कहा, " अम्मी ये कहना तो आसान है,, लेकिन "सहना उतना ही मुश्किल,, कोई क्या ही कर सकता है, "जब वक्त ने किया इतना सितम। अच्छा! अम्मी अब आप लोग जाइए और जाकर सो जाइए ।

फिर सब अपने अपने कमरे में चले जाते है ।

सुबह होती है और आसिफ उठकर बैठ जाता है क्योंकि उसे कल रात का मंजर अपने आंखों के सामने नजर आता है ।

वो बार बार इस मंजर में कुछ तराशने की कोशिश करता है  ताकि उसे कोई clue मिल जाए और वो उस "बाला, की राज तक पहुंच सके ।


next chapter
Load failed, please RETRY

Weekly Power Status

Rank -- Power Ranking
Stone -- Power stone

Batch unlock chapters

Table of Contents

Display Options

Background

Font

Size

Chapter comments

Write a review Reading Status: C1
Fail to post. Please try again
  • Writing Quality
  • Stability of Updates
  • Story Development
  • Character Design
  • World Background

The total score 0.0

Review posted successfully! Read more reviews
Vote with Power Stone
Rank NO.-- Power Ranking
Stone -- Power Stone
Report inappropriate content
error Tip

Report abuse

Paragraph comments

Login