अर्ज़ कुछ यूँ किया है ज़रा गौर फरमाइयेगा
तेरी इन रसभरी होटों को मैं चूमना चाहता हूँ
तेरी इन रसभरी होटों को मैं चूमना चाहता हूँ
तेरी दिल के एक कोने में मैं रहना चाहता हूँ
यूँ तो हज़ारों होंगे तेरी निगाहों में हमसे प्यारे
हम को भी ज़रा आज़मा लो जिंदगी कर दूंगा सारे तुम्हारे हवाले