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18% The passion of love / Chapter 9: Maya's attitude

Chapitre 9: Maya's attitude

अब आगे

      शाम क़ो सिद्धार्थ अपने घर आता है, लेकिन अब उसका घर आने का बिल्कुल भी मन नहीं करता है, उसे घर में चारों और श्रद्धा की कमी महसूस होती है वह पहले घर कम ही आता था, लेकिन जब भी आता था उसे श्रद्धा इधर-उधर कुछ न कुछ करती हुई दिखती थी, लेकिन श्रद्धा के चले जाने से जैसे यह घर भी उसके बिना अकेला हो गया है।

श्रद्धा के जाने के बाद से घर के सारे सर्वेंट भी बहुत उदास रहने लगे थे, श्रद्धा उन सभी से कभी भी नौकरों की तरह व्यवहार नहीं करती थी उन सभी के साथ तो अक्सर हंसी मजाक करती थी उन सभी की जरूरत का पूरा ख्याल रखती थी यहां तक कि जब तक सारे सर्वेंट खाना नहीं खा लेते थे वह अपना खुश होती थी ना कि बिना खाए किसी को जाने देती थी। सभी सर्वेंट को श्रद्धा का यह नेचर बहुत ही पसंद था।

जहां लड़कियां थोड़ी सी पावर और पैसे मिलने के बाद घमंड में चूर हो जाती है वही श्रद्धा इतने बड़े रईस आदमी की बीवी होने के बाद भी उसके अंदर बिल्कुल भी घमंड नहीं था वह सभी से प्यार से बात करती थी, उनके साथ कभी तो नौकरी जैसा सलूक नहीं करती थी।

सिद्धार्थ अजब घर आया तो सभी नौकर अपना अपना काम कर रहे थे हेड सर्वेंट भी सभी को ऑर्डर दे रही थी लेकिन किसी के चेहरे पर भी वह स्माइल या चमक नहीं थी जो श्रद्धा के रहने पर होती थी, उसके जाने से लग रहा था जैसे  उसे घर की आत्मा ही चली गई अब घर-घर न होकर एक मकान रह गया है।

सिद्धार्थ बिना कुछ कहे अपने कमरे में चला जाता है उसके जाने के थोड़ी देर बाद ही माया अपनी हिल्स की टिक टिक करते हुए उसे घर में आती है, घर में आकर वह चारों ओर देखती है, आज पहली बार था कि वह सिद्धार्थ के इस मेंशन में आई थी क्योंकि सिद्धार्थ यूनिवर्सिटी उसे मना किया था कि वह कभी भी श्रद्धा के सामने नहीं आएगी। और अब जब श्रद्धा इस घर में नहीं है तो वह अपनी रॉब झाड़ने इस घर में चली आई थी। माया को देखकर किसी भी नौकर को अच्छा नहीं लग रहा था हेड सर्वेंट को तो बिल्कुल भी अच्छा ही लगता था क्योंकि वह जानती थी कहीं ना कहीं श्रद्धा के घर छोड़कर जाने के पीछे इसी माया का हाथ है।

माया पुरी एटीट्यूड के साथ पूरे घर को देखती हैं वह ललचायी हुई नजरों से पूरे घर को देख रही थी जिसे वहां खड़े सभी नौकर साफ-साफ समझ रहे थे। तभी माया वहां हेड सर्वेंट को देखकर कहती हे यू तुम जाओ जाकर मेरे लिए एक ऑरेंज जूस ले आओ चील्ड होना चाहिए थोड़ा भी देर हुआ तो तुम्हारी खैर नहीं। यह बोलकर वह पूरे एटीट्यूट के साथ जाकर अपने पैर पैर पर चढ़ा कर सोफे पर बैठ जाती है।

हेडसेट उसके बाद पर कोई ध्यान नहीं देती है और अपने काम में लगी होती है यह देखकर माया को और गुस्सा आ जाता है वह जाकर उसको अपनी तरफ करती हो रहती है तुम्हें सुनाई नहीं दे रहा है मैं क्या कह रही हूं लगता है तुम्हारी पुरानी  गवार मैडम ने तुम लोग को तमीज से रहना नहीं सिखाया है इसलिए तुम इस तरह से बदतमीजी कर रही हो मेरी बात सुनो। अब तुम्हारी वह गवार मैडम कभी इस घर में नहीं आने वाली अब मैं इस घर की होने वाली में सब हूं तो मेरे साथ सही से रहोगे तभी इस घर में काम कर पाओगी।

उसके बाद किसी भी सर्वेंट को अच्छी नहीं लगती है और उन्हें बुरा भी लगता है कि वह हेड सर्वेंट किस तरह से इंसल्ट कर रही है क्योंकि सिद्धार्थ भी हेड सर्वेंट से इज्जत से बात करता था, और श्रद्धा वह तो कभी उन्हें नौकर समझता ही नहीं थी, उसके बाद पर हेड सर्वेंट ने अपना हाथ झटक दिया और माया का उंगली दिखाते हुए कहा तुम हमारी मैडम कभी नहीं बन सकती हमारी मैडम सिर्फ एक ही है श्रद्धा मैडम। और तुम जैसी दो कौड़ी की जीत औरत को हम कभी अपनी मैडम नहीं मानेंगे।

उसकी ऐसी बातें सुनकर माया का गुस्से से पर हाय हो जाता और वह एक जोरदार थप्पड़ है सर्वेंट को लगा देती है, हेड सर्वेंट की ऐज 40  थी, वह उसके थप्पड़ से संभाल नहीं पाई और वही फर्श पर गिर गई जिससे उसके हाथों में खरोच लग गई। बाहर हो रहे शोर को सुनकर सिद्धार्थ भी बाहर आ गया था।

सिद्धार्थ को बाहर आया देखकर माया अपना विक्टिम कार्ड खेलना शुरू कर देती है, सिद्धार्थ को देखते ही वह अपनी आंखों में झूठे आंसू लेकर कहती है, सिद्धार्थ सिद्धार्थ देखो ने यह सरवन मेरे साथ कैसा बीएफ कर रही है इसलिए मुझे बहुत गलत गलत बोला, इसमें तो यह भी कहा कि श्रद्धा को तुम्हें छोड़कर जाने का कारण मैं हूं, मैं तो आशिक श्रद्धा से कभी मिला ही नहीं, पहली बार जब मैं उससे मिली थी वही ऑडिशन में मिली थी। तो यह ऐसे कैसे कह सकती है कि श्रद्धा की इस घर से जाने में मेरा हाथ है।

यह मुझे इस घर से बाहर निकालने के लिए जबरदस्ती कर रही थी मैं तो यहां तुमसे किसी काम की वजह से आई थी और मैं अपने हाथ को छुड़ाने की कोशिश की और यह नीचे गिर गई देखो ना यह जानबूझकर मुझ पर इल्जाम लगा दिया कि मैं इसे गिराया है। सिद्धांर्थ जाकर हेड सर्वेंट को उठता और कहता है आंटी आप ठीक तो है ना।  तभी सिद्धार्थ की नजर हेड सर्वेंट के गाल पर पड़ती है जहां उंगलियों के निशान थे उसे देखते हैं सिद्धार्थ कहता आंटी आपको क्या हुआ आपको किसने मारा है। हेड सर्वेंट कुछ नहीं रहती वह बस अपना से नीचे झुकाए रहती है लेकिन उनमें से एक सर्वेंट के रहती है सर यह माया मैडम ने इन्हें मारा है।

माया को लगता है कि सिद्धार्थ क्यों एक सर्वेंट के लिए इतना कुछ करेगा इसलिए वह कहती है यह हमेशा बदतमीजी करी थी मैंने सिर्फ इसे एक गिलास पानी ही तो मांगा था और उसने देने से इनकार कर दिया, एक नौकर होकर ऐसे एटीट्यूड से मुझे बोली तो मुझे गुस्सा आ गया। बस इतना सुना ही था कि सिद्धार्थ का पर हाय हो ज्ञा एक तो पहले से ही,श्रद्धा को उसे छोड़कर जाने और आई हुई प्रॉब्लम को फेस करते हुए  टेंशन में था और अब माया का ऐसा बेहेव उससे गुस्सा दिला गया वह जोर से चिल्ला के माया से कहता है तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई उनके ऊपर हाथ उठाने की।

आज तक श्रद्धा ने कभी इन लोगों के साथ कोई भी मिसबिहेव नहीं किया वह इन्हें ऐसा फैमिली मेंबर ट्वीट करती हो तुमने उनके साथ ऐसा बेहेव किया हाउ डेयर यू। और तुम इस घर में आई कैसे मैं तुम्हें हमेशा से मना किया है कि तुम इस घर में नहीं आ सकती मैं नहीं चाहता कि श्रद्धा तुम्हें देखें और कुछ गलत समझे। लेकिन अब तो श्रद्धा यहां पर नहीं है ना इसलिए मैं आ गई। माया ने इतना ही कहा था कि सिद्धार्थ की गुस्से से घूरती हुई निगाहे उसके ऊपर महसूस होती है और वह चुप हो जाती है।

माफी मांगो आंटी से, सिद्धार्थ ने अपनी राबदार आवाज में कहा जिसे सुनकर एक बार के लिए माया कांप गई, माया ने खुद को संभालते हुए कहा तुम तुम मुझे इस नौकर से माफी मांगने को कह रहे हो। तुम्हें एक बार में बात समझ में नहीं आती यह नौकर नहीं है। माफी मांगो और जो अपने घर जो भी काम होगा कल ऑफिस में आकर मिल लेना।

सिद्धार्थ के गुस्से को देखकर माया अपने गुस्से का घूंट पी लेती है और घूरती हुई निगाह से एक बार हेड सर्वेंट को देखते हैं और आई एम सॉरी कह कर वहां से पर पटकते हुए चली जाती है।

माया के जाने के बाद सिद्धार्थ हेर सर्वेंट को देखा है और उनसे माफी मांगता है। हेड सर्वेंट उसकी और देखी और कहती हैं आपको माफी मांगने की जरूरत नहीं है सर, हमें श्रद्धा मैं के साथ रहकर अपनी औकात भूल गए थे लेकिन हम भूल गए थे कि श्रद्धा में अभी हां नहीं है और हमें भी अपनी औकात में वापस आना पड़ेगा यह बोलकर वह अंदर चली जाती है अपने कामों में लग जाती है, सिद्धार्थ को काफी बुरा लगता है क्योंकि आज तक कभी भी उन्होंने किसी भी सर्वेंट के ऊपर कभी कोई गुस्सा नहीं दिखाया था ना ही कोई मिस बिहेव किया था श्रद्धा भी उनसे बहुत प्यार से बिहेव करती थी, लेकिन जब से श्रद्धा गई थी घर ही पूरा बिगड़ गया था।

आगे क्या होगा जाने के लिए

To be continued ♥️♥️♥️

राधे राधे


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