जागने के बाद,लू मान ने घर की सफाई की और घर के पास वाले बाजार चली गई। उसने ज़िया किंगवेई के लिए मछली का सूप बनाने के लिए एक मछली खरीदी।
उसने दलिया का एक छोटा बर्तन भी बनाया और दो साइड व्यंजन भी तैयार किए।
उन सभी को थर्मस कंटेनर में पैक करके, वो जल्दी से अस्पताल के लिए रवाना हुई।
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"माँ।" अस्पताल के कमरे में प्रवेश करते हुए, उसने देखा कि ज़िया किंगवेई पहले से ही जाग रही थी।
"मान मान।" लू मान को देखते ही, ज़िया किंगवेई तुरंत चमक उठी।
हालाँकि लू मान पहले ही कल उसे चुपके से देख चुकी थी,लेकिन अब उसे जीवित देखकर और उसकी आवाज़ सुनकर, लू मान अपने आँसू रोक नहीं सकी।
ज़िया किंगवेई का चेहरा अभी भी पीला और बीमार लग रहा था,और उसका शरीर पतला और कमजोर था।
लेकिन कम से कम, वो जीवित तो थी।
लू मान के लिए यही काफी था कि उसकी माँ जीवित थी। जिंदा होने का मतलब था कि अभी भी उम्मीद बाकि थी।
"क्या हुआ है? तुम रो क्यों रही हो?" लू मान की लाल-लाल आँखों को देखकर, ज़िया किंगवेई चिंतित हो गयी और जल्दी से बिस्तर से उठने की कोशिश करने लगी।"क्या लू परिवार ने तुम्हारे साथ बुरा बर्ताव किया?"
"नहीं।"लू मान जल्दी से आगे बढ़ी और ज़िया किंगवेई को कंधो से पकड़ लिया।
ज़िआ किंगवेई ने अस्पताल का गाउन पहना हुआ था। पूरा अस्पताल कीटाणुनाशक की गंध से भर गया था। हालांकि,ज़िया किंगवेई के शरीर से, उसे अभी भी वह परिचित और कोमल गंध आ रही थी,जो केवल उसकी माँ की थी।
"मैं आपको बहुत मिस कर रही थी।" लू मान ने ज़िया किंगवेई को गले लगाया और उसे पकड़ लिया।
"मूर्ख बच्ची, तुम्हारी माँ यहीं है। क्या तुम अभी कुछ दिन पहले ही मुझसे मिलने नहीं आयी थी?" ज़िया किंगवेई ने मुस्कुराते हुए कहा।
हालाँकि, लू मान के लिए,आठ साल हो गए थे जब उसने आखिरी बार ज़िया किंगवेई को देखा था।
फिर भी, ज़िया किंगवेई के लिए,लू मान अभी कुछ दिनों पहले ही आयी थी।
ज़िया किंगवेई ने लू मान के बालों को धीरे से सहलाया, उसका चेहरा चिंता से भरा हुआ था। "क्या तुम सच कह रही हो कि तुम्हें वहाँ परेशान नहीं किया गया? तुम अपनी माँ को सब कुछ बता सकती हो,कुछ भी अंदर रखने की कोई ज़रूरत नहीं है।"
जब भी लू मान अपनी माँ से मिलने जाती थी तो, वो हमेशा मुस्कुराती रहती थी, जैसे वो बहुत अच्छे मूड में हो।
उसने ज़िया किंगवेई को बताया कि उसने लू परिवार में एक अच्छा समय बिताया,और किसी ने उसे तंग नहीं किया।
हालांकि, ज़िया किंगवेई को पता था कि लू मान को डर था कि उसकी माँ उसके लिए चिंता करेगी,और वो नहीं चाहती थी कि, ज़िया किंगवेई दुःखी हो।
आखिरकार,कौन सहन कर सकता है कि,जिस आदमी को कभी उसने प्यार किया था,वो अपनी ही बेटी को परेशान करे?
फिर भी,अगर लू मान ने उसे इस बारे में कभी बताया नहीं था, तो इसका मतलब यह नहीं था कि वो कुछ जानती नहीं थी।
लेकिन लू मान जितना ज्यादा बेपरवाह होने की कोशिश कर रही थी,और दिखावा कर रही थी कि सब कुछ ठीक था, उतना ही ज़िया किंगवेई को अजीब लग रहा था।
हालाँकि,लू मान के सामने वो भी दिखावा कर रही थी कि,वो कुछ नहीं जानती।
माँ और बेटी की यह जोड़ी एक दूसरे से झूठ बोल रही थी।
"नहीं, वे अब मुझे परेशान नहीं कर सकते।" लू मान ने धीरे से कहा,"मुझे बस आपकी याद आ रही थी।"
"मूर्ख बच्चा।" फिर भी,ज़िआ किंगवेई इस बात से खुश थी कि,लू मान कितनी समझदारी से बर्ताव कर रही थी।
लू मान हमेशा से अपनी भावनाओं को छिपाना जानती थी,और उसके जीवन में आयी परेशानियों के कारण वो बहुत कम उम्र में ही समझदार हो गई थी।
लू मान हमेशा अपनी भावनाओं को छुपाती थी। वो खुद को व्यक्त करने में भी काफी बुरी थी। भले ही वो सही में दूसरों के लिए अच्छी थी, वो कभी किसी को एक शब्द भी नहीं कहती थी।
वैसे भी,लू मान उसकी बेटी थी, और ज़िआ किंगवेई उसे बहुत अच्छी तरह से जानती थी।
वो स्पष्ट रूप से,अपनी माँ के बहुत करीब थी और अपनी माँ से बहुत प्यार करती थी, लेकिन उसने कभी भी अन्य लड़कियों की तरह बर्ताव नहीं किया- अपनी माँ से चिपकना और एक बिगड़े हुए बच्चे की तरह बात करना। वो ज़िआ किंगवेई को कभी गले भी नहीं लगाती थी।
लू मान अपनी माँ को सिर्फ अपने जीवन की अच्छी बातें बताती थी।
हालांकि, ज़िया किंगवेई जानती थी कि लू मान के कंधों पर बहुत बोझ था।
उसे लू कियुआन, ज़िया क्विंगयांग और लू क्वी की बदमाशी झेलनी पड़ती थी,साथ में ज़िआ किंगवेई की बीमारी का बोझ भी उसके कंधों पर ही था।
इस प्रकार अपने दांत पीसते हुए, उसे ये सब झेलना पड़ता था। फिर वो अभी भी एक बिगड़े हुए बच्चे की तरह व्यवहार कैसे कर सकती थी?
जीवन ने उसे जल्दी से बड़ा होने के लिए मजबूर कर दिया था।
इसके बारे में सोचकर, ज़िया किंगवेई की आँखों में भी आँसू आ गए। उसने धीरे से लू मान की पीठ थपथपाई।
"माँ जानती है कि तुम कुछ सोच रही हो। लू परिवार में जो कुछ भी हो रहा है, या तुम्हारे काम की जगह पर जो कुछ भी चल रहा है, तुम उसके बारे में हमेशा अपनी माँ को बता सकती हो। भले ही मेरी बीमारी के कारण, मैं तुम्हारी कुछ मदद नहीं कर सकती, लेकिन मैं फिर भी तुम्हारी तकलीफों के बारे में सुन सकती हूँ,जिससे तुम अपना मन हल्का कर सको और तनाव को कुछ कम कर सको।"
"मैं सही में बिलकुल ठीक हूँ। मुझे बस आपकी बहुत याद आती है।" लू मान ने अपना सिर हिलाया, अपनी नाक से आवाज़ निकाली और फिर शांत हो गयी। उसने खुद को ज़िया किंगवेई की बाँहों से बाहर निकला लिया। "मैं आपके लिए कुछ नाश्ता भी लायी थी, जो मैंने आपके लिए बनाया था। आपने अभी तक नहीं खाया है, है ना?"